
हिंदुस्तान उद्योग व्यापार मंडल लड़ेगा व्यापारियों के हित की लड़ाई ,डेनियल साइमन

हिंदुस्तान उद्योग व्यापार मंडल लड़ेगा व्यापारियों के हित की लड़ाई ,डेनियल साइमन
झांसी नवनिर्वाचित हिंदुस्तान उद्योग व्यापार मंडल के राष्ट्रीय महासचिव डेनियल साइमन ने पत्रकारों से चर्चा करते हुए बताया मुझे हाल ही में मोहम्मद अरशद खान पूर्व विधायक जौनपुर हिंदुस्तान उद्योग व्यापार मंडल के राष्ट्रीय अध्यक्ष है उन्होंने राष्ट्रीय महासचिव की जिम्मेदारी दी है हिंदुस्तान उद्योग व्यापार मंडल से व्यापारियों के हित में लड़ी जाने वाली लड़ाई जैसे कि ऑन लाइन व्यापार के कारण छोटे और खुदरा व्यापारी तबाह हो रहे है। खुदरा व्यापार और छोटे व्यापार को बचाने के लिए ऑन लाइन व्यापार पर पाबंदी लगाई जाये
छोटे और खुदरा व्यापार पर जी०एस०सी० घटाकर कम कर दिया जाए जिससे कि छोटे व खुदरा व्यापारी ऑन लाइन व्यापारियों से कम दाम पर सामान बेच सके।
तहसील स्तर पर बिग बाजार / सुपर मार्केट / माल खोलने पर पाबंदी लगाई जाये।
उद्यमियों और व्यापारियों को यदि सुरक्षा के लिए आवश्यक हो तो तत्काल असलहों के लाइसेंस दिये जाये। 5. जीएसटी में पंजीकृत व्यापारियों का 25 लाख रूपये का स्वस्थ्य बीमा एवं दुकान जलने अथवा दुघर्टना बीमा 25 लाख रुपये किया जाये।
जीएसटी एवं मण्डी शुल्क लेट रिर्टन जमा होने पर ब्याज दर 18 प्रतिशत से घटाकर 6 प्रतिशत की जाये। जीएसटी में जिस व्यापारी के पास माल खरीदते समय जीएसटी के भुगतान करने के साक्ष्य मौजूद है. उससे वसूली करने के स्थान पर माल बेचने वाले व्यापारी जिसने कर वसूल कर जमा नही किया है उससे वसूली कार्यवाही की जाये।
मण्डी शुल्क बिहार, दिल्ली में नही है। अतः उत्तर प्रदेश के व्यापार को बचाने के लिए मण्डी शुल्क की दर 1 प्रतिशत की जाये। आधा प्रतिशत शेष समाप्त किया जाये। मंडी की प्रवेश पर्ची 9R एवं गेट पास समाप्त किया जाये। निर्दिष्ट कृषि उत्पादों से चावल और दाल को बाहर किया जाये।
प्रदेश के सभी जिला मुख्यालय जहाँ मण्डी स्थल नही बने हैं उन सभी जिलों में मण्डी (अनाज, फल, सब्जी मण्डी) का निर्माण कराया जाये। मण्डियों में बाउण्ड्री, सड़क, स्ट्रीट लाइट, पानी आदि की सुचारू व्यवस्था की जाये। मण्डियों की दुकानों के ऊपर पंजाब, हरियाणा की तरह आवास बनाने की सुविधा दी जाये।
खाद्य सुरक्षा अधिनियम के अंतर्गत भ्रष्टाचार का बोलबाला है। व्यापार मण्डल की पुरानी मांग है कि इस कानून के अंतर्गत व्यापारी के पास खरीद का पर्चा होने पर सैम्पिल भरे जाने पर उत्पादक को पार्टी बनाये जाये। जबकि व्यापारी को पार्टी बनाया जा रहा है।
खाद्य सुरक्षा अधिनियम (फूड एक्ट) के लिए पूर्णकालिक न्याय निर्णायक अधिकारी की नियुक्ति की जानी चाहिए। जिससे व्यापारी को शीघ्र न्याय मिल सके।